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03/05/2025 - "सोच से समृद्धि"

समस्या के बजाय समाधान पर ध्यान दें तो सफलता की संभावना अधिक हो जाती है : डॉ पंकज शुक्ला 
 
आज भोपाल में मोदी हाइट एमपी नगर स्थित ग्राम्या संस्थान के डॉ पंकज शुक्ला द्वारा आयोजित सप्ताहित गतिविधि "सोच से समृद्धि" कार्यक्रम के अंतर्गत विभिन्न NGO ग्रुप ने सहभागिता की ।  सांज संस्था की रुचिका जैन जी के साथ कला सेजकर, नेहा भगत, स्वाति शर्मा, सपना, रैना, अंकिता, अंजना श्रीवास्तव, ज्योति रघुवंशी,रुचिता जैन अरुण कुमार जैन, नितिन राय, रिचा खरे , परी खरे शिखा यादव, धर्मेंद्र शर्मा , दयाराम कुशवाहा ने सहभागिता की तो वहीं मदद फाउंडेशन की संचालिका सुनंदा पहाडे जी, अपर्णा जोशी, सीमा बंगाडे, शिप्रा बघेल, सहित अन्य लोग भी उपस्थित रहे । आसरे संस्था की मेघा श्रीवास्तव,निर्मला शर्मा,शालिनी ,बृजेश , कान्हा सहित जोशी जी ने भी कार्यशाला में भाग लिया।
कार्यक्रम का संचालन दूरदर्शन की एंकर पूर्वा त्रिवेदी ने किया एवं डॉ पंकज शुक्ला ने कार्यक्रम को संबोधित किया ।उन्होंने कहा कि  कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य सरकारी योजनाओं को जनता तक अधिक प्रभावी और सीधा तरीके से पहुंचाने के उपायों पर विचार-विमर्श करना था। कार्यशाला में प्रतिनिधियों ने विभिन्न चुनौतियों और संभावनाओं पर चर्चा की, जिससे यह सुनिश्चित किया जा सके कि सरकारी योजनाओं का लाभ समाज के सभी तबकों तक समान रूप से पहुंचे। इस प्रकार के विचार-विमर्श से न केवल NGO के प्रयासों को मजबूती मिलती है, बल्कि सरकार और गैर-सरकारी संगठनों के बीच सहयोग को भी बढ़ावा मिलता है। 
कार्यशाला का माहौल सहयोगात्मक और प्रेरणादायक था, जिसमें सभी प्रतिभागियों ने अपने अनुभव और सुझाव साझा किए।
 
कार्यक्रम के मुख्य बिंदु:
• सभी संस्थाओं ने इस बात पर सहमति जताई कि विकास की असली शुरुआत सोच में बदलाव से होती है।
• यह स्पष्ट हुआ कि सकारात्मक सोच, सहभागिता और सतत प्रयास से ही हम ग्रामों को आत्मनिर्भर और समृद्ध बना सकते हैं।
• कई संस्थाओं ने अपने-अपने क्षेत्र में किए गए उदाहरणात्मक कार्यों की जानकारी दी, जो “सोच से समृद्धि” के मूल उद्देश्य से मेल खाते हैं।
• भविष्य की कार्ययोजना में साझा अभियानों, जनजागरूकता, और नीति-स्तर सहयोग की दिशा में ठोस कदम उठाने पर विचार हुआ।
 

 

     

25/04/2025 - "सोच से समृद्धि"

आसरे संस्था द्वारा प्रत्येक शुक्रवार को "सोच से समृद्धि" कार्यक्रम आयोजित किया जाता है जिसके अंतर्गत, सामाजिक संस्थाओं के कार्यकर्त्ता, विभिन्न विषयों  के विशेषज्ञ एवं गणमान्य नागरिक अलग अलग विषयों पर अपने विचार व्यक्त करते हैं और सामाजिक उत्थान एवं कल्याण के लिए, संस्थाओं के उद्देश्यों की पूर्ति के लिए एवं आगामी गतिविधियों रूपरेखा पर चर्चा करते हैं। कार्यक्रम के माध्यम से सभी को एक दुसरे से जोड़ना और बड़े नेटवर्क के साथ समन्वय स्थापित कर कार्य करना है जिससे सभी एक दुसरे के सहयोगी बन सकें। डॉ शुक्ला का मानना है की टीमवर्क में बहुत शक्ति होती है और मिलजुलकर चर्चा  करने से कई समस्याओं का निराकरण भी होता है। 
इस शुक्रवार को आयोजित साप्ताहिक “सोच से समृद्धि” कार्यक्रम में "समृद्ध सोच-समृद्ध प्रदेश" विषय रखा गया था। मदद फाउंडेशन एवं स्वास्थोदय संस्था के पदाधिकारी एवं कार्यकर्ताओं ने संस्था प्रमुख डॉ.पंकज शुक्ला जी के साथ इस विषय विभिन्न सामाजिक विषयों पर सार्थक चर्चा की तथा भविष्य में किए जाने वाले कार्यों की रूपरेखा का निर्धारण भी किया।

 

 


     

15/04/2025 - "पोषण पखवाड़ा" - पोषित माँ सुपोषित बच्चे अभियान

भारत सरकार द्वारा संपूर्ण देश में पोषण आहार के प्रति जन जागरूकता लाने जा रही है। 8 अप्रैल से 22 अप्रैल 2025 तक 'पोषण आहार पखवाड़ा' सप्ताह आयोजित किया जा रहा है। इस राष्ट्रव्यापी अभियान का मुख्य उद्देश्य महिलाओं और बच्चों को उचित पोषण और बेहतर स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करना है।

इस पखवाड़े के दौरान, देशभर में विभिन्न प्रकार की गतिविधियाँ संचालित की जा रही हैं, जिनके माध्यम से लोगों को पोषण आहार से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारियां प्रदान की जा रही है।

सामाजिक संस्था एसोसिएशन फॉर सस्टेनेबल रुरल एम्पावरमेंट 'आसरे' भी सक्रिय रूप से योगदान दे रही है। संस्था के सदस्य आंगनबाड़ियों में जाकर बच्चों और महिलाओं को मोटे अनाज (मिलेट) के पौष्टिक लाभों से अवगत करा रहे है ।

15 अप्रैल को संस्था 'मदद फाउंडेशन' और संस्था 'आसरे' के संयुक्त तत्वावधान में 'एक पहल बदलाव की ओर' नामक एक महत्वपूर्ण गतिविधि आयोजित की जाएगी। इस गतिविधि का उद्देश्य समुदाय में सकारात्मक बदलाव लाना एवं महिलाओं और बच्चो में पोषित आहार के प्रति जन जागरूकता लाना है , प्रदेश की विभिन आंगनवाड़ीयो में पोषित माँ सुपोषित बच्चे अभियान अभियान निरंतर संचालित किया जा रहा है ।

 

 

     

22/03/2025 - "स्वास्थ्य और स्वच्छता"

एसोसिएशन फॉर सस्टेनेबल रूरल एम्पावरमेंट (आसरे) ने 22 मार्च 2025 को वार्ड नंबर 25, आंगनवाड़ी केंद्र न्यू एमएलए क्वार्टर, भोपाल मध्य प्रदेश में महिला स्वास्थ्य और स्वच्छता पर एक कार्यशाला का आयोजन किया। कार्यशाला में वार्ड क्रमांक 25 के पार्षद श्री जगदीश यादव भी उपस्थित रहे और प्रतिभागियों का उत्साहवर्धन किया। उन्होंने महिलाओं के स्वास्थ्य और स्वच्छता के बारे में जागरूकता बढ़ाने में एएसआरई के प्रयासों की सराहना की।

इस कार्यशाला का उद्देश्य महिलाओं को मासिक धर्म स्वच्छता के बारे में जागरूक करना और उन्हें जननांग संक्रमण से सुरक्षित रहने के लिए शिक्षित करना था।

कार्यशाला में महिलाओं को मासिक धर्म के दौरान स्वच्छता बनाए रखने के महत्व और सुरक्षित तरीकों के बारे में जानकारी दी गई। उन्हें जननांग संक्रमण के लक्षण और बचाव के तरीकों के बारे में भी जानकारी दी गई।

कार्यशाला में भाग लेने वाली महिलाओं ने इस पहल के लिए आसरे और पार्षद श्री जगदीश यादव को धन्यवाद दिया। प्रतिभागियों ने कहा कि यह कार्यशाला उनके लिए बहुत उपयोगी रही और इससे उन्हें अपने स्वास्थ्य के प्रति अधिक जागरूक होने में मदद मिलेगी।

डॉ. पंकज शुक्ला अध्यक्ष आसरे , मध्य प्रदेश में महिलाओं के स्वास्थ्य और स्वच्छता के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए भविष्य में ऐसी कार्यशालाएं आयोजित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

 

 

 

     

28/06/2024 - कार्यशाला (स्वयं सहायता समूह ) रामपुर बघेलान

एसोसिएशन फॉर सस्टेनेबल रूरल एम्पावरमेंट (आसरे) ने 28 जून को सतना जिले के रामपुर बाघेलान ब्लॉक में एक कार्यशाला आयोजित की। कार्यशाला का उद्देश्य स्वयं सहायता समूह (एसएचजी) की महिलाओं द्वारा अपने उत्पादों को बनाने और बेचने में आने वाली समस्याओं और बाधाओं को एकत्र करना और उनका विश्लेषण करना था। इसके अतिरिक्त, आसरे को उपयुक्त कार्यक्षेप लागू करने और उन्हें मध्य प्रदेश सरकार की पहल के अनुसार "लखपति दीदी" बनाने के लिए सशक्त बनाने के लिए उनकी वर्तमान आर्थिक स्थिति का आकलन करने के प्रयास किए गए।

कार्यशाला में लगभग 100 महिलाओं ने भाग लिया, अपने उद्यमशीलता प्रयासों और आम तौर पर उनके सामने आने वाली चुनौतियों पर सक्रिय रूप से चर्चा की। कार्यशाला से पता चला कि अधिकांश महिलाओं ने अपनी आर्थिक गतिविधियों को शुरू करने या बढ़ाने के लिए प्रशिक्षण और कौशल विकास की आवश्यकताएं व्यक्त कीं। इस आवश्यकता को पहचानते हुए, आसरे इन महिलाओं को सफलता के लिए आवश्यक कौशल से लैस करने के लिए निकट भविष्य में कौशल-आधारित प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित करने के लिए प्रतिबद्ध है। कार्यशाला में आसरे के प्रतिनिधियों के साथ-साथ जिला स्तरीय अधिकारी भी उपस्थित थे.

 एसोसिएशन फॉर सस्टेनेबल रूरल एम्पावरमेंट (ASRE) एक पंजीकृत गैर सरकारी संगठन है जिसका मुख्य कार्यालय भोपाल में है। आसरे, भारत के ग्रामीण विकास परिदृश्य में परिवर्तनकारी बदलाव के प्रतीक के रूप में खड़ा है। इसकी यात्रा हाशिए पर रहने वाले समुदायों को सशक्त बनाने और ग्रामीण निवासियों के जीवन में सकारात्मक, स्थायी परिवर्तन लाने के मिशन के साथ सतत प्रगति के प्रति दृढ़ प्रतिबद्धता में निहित है।

 

 

       

     

08-02-2024 - शक्ति - समृद्ध ग्राम समृद्ध सतना

एसोसिएशन फॉर सस्टेनेबल रूरल एम्पावरमेंट (आसरे ) की  समृद्ध ग्राम समृद्ध सतना अवधारणा पर आधारित कार्यक्रम "शक्ति" में कलेक्टर श्री अनुराग वर्मा ने ७ महिलाओं को शक्ति सम्मान प्रदान किया. कलेक्टर श्री अनुराग वर्मा ने कहा की आसरे संस्था महिला स्व-सहायता समूहों और सर्कार की योजनाओं के बीच सेतु का कार्य करेगी.इस भव्य कार्यक्रम में नगर निगम कमिश्नर श्री अभिषेक गहलोत, संस्था के अध्यक्ष डा.पंकज शुक्ला, आर्थिक सलाहकार डा.रंजन कुमार मौजूद थे. डा शुक्ला ने बताया की विकसित देशों में महिलाओं का योगदान ४० प्रतिशत तक होता है. कलेक्टर श्री अनुराग वर्मा द्वारा, आसरे संस्था की तरफ से प्रायोजित "शक्ति" सम्मान, महिला उद्द्यमी अंजना सूरी, डिज़ाइनर तनया मल्होत्रा, आजीविका मिशन में पुष्प साकेत, सज्जनपुर बैंक सखी पूर्णिमा, बगहा बैंक सखी सुनीता चौधरी, ज्योति सिंह, वर्मी कम्पोस्ट निर्मात्री सविता सिंह को दिया गया.

The Association for Sustainable Rural Empowerment (ASRE) organized a program titled "Shakti" in the Town Hall on Tuesday. This program, themed "Village-Prosperous Satna," focused on women's empowerment as a key driver of development in the district. The event was graced by the presence of Satna Collector, Honorable Anurag Verma, as the chief guest. Dr. Pankaj Shukla, President of ASRE, and Dr. Ranjan Kumar, the organization's Economic Advisor, were also present alongside a large gathering of women. The "Shakti" program signifies ASRE's commitment to empowering rural women and fostering their active participation in building a prosperous Satna.